अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के पूर्व अध्यक्ष रहे महंत नरेंद्र गिरि के गनर रहे अजय कुमार सिंह को आय से अधिक संपत्ति मामले में हुई प्रारंभिक जांच में दोषी पाया गया है। भ्रष्टाचार निवारण संगठन के इंस्पेक्टर की ओर से कर्नलगंज थाने में सोमवार को रिपोर्ट दर्ज कराई गई है। 2005 में उत्तर प्रदेश पुलिस में कांस्टेबल के पद पर नियुक्त होने वाले अजय ने महज 18 साल की नौकरी में करोड़ों की कमाई कर डाली है।
अजय महंगी गाड़ियां और लाइफ स्टाइल का शौकीन था।
गृह विभाग की ओर से दिसंबर-2022 में दिए गए थे जांच के आदेश
महंत नरेंद्र गिरि की मौत के बाद अजय कुमार सिंह पर आय से अधिक संपत्ति के आरोप लगे थे। दैनिक भास्कर ने इसका सबसे पहले खुलासा किया था। अजय के मामले की शिकायत शासन तक पहुंची तो गृह विभाग की ओर से दिसंबर-2022 में जांच के आदेश दिए गए। भ्रष्टाचार निवारण संगठन मुख्यालय की ओर से जनवरी 2023 में जांच इंस्पेक्टर ठाकुरदास को सौंपी गई। इंस्पेक्टर की जांच में आरोपी दीवान अजय प्रारंभिक रूप से दोषी पाया गया। इसके बाद 17 जुलाई 2023 को कर्नजगंज कोतवाली में इंस्पेक्टर ने एफआईआर दर्ज कराई। हालांकि इसकी विवेचना भ्रष्टाचार निवारण संगठन ही करेगा।
अजय के पास फार्च्यूनर जैसी महंगी गाड़ियां हैं।
18 साल की नौकरी में ही बन गया करोड़पति
श्रीमठ बाघंबरी गद्दी के पूर्व महंत नरेंद्र गिरि की सुरक्षा में तैनात रहा दीवान अजय कुमार सिंह मूल रूप से बलिया का रहने बाला है। महंत नरेंद्र गिरि की 20 सितंबर 2021 को डेथ होने के बाद उसे प्रयागराज से ट्रांसफर कर कौशांबी में तैनात कर दिया गया था। अजय की नियुक्ति पुलिस विभाग में 10 जुलाई 2005 बतौर कांस्टेबल हुई थी। बाद में 10 जुलाई 2012 को उसकी तैनाती प्रयागराज में हुई। अपनी वाकपटुटा और पर्सनालिटी के बल पर वह महंत नरेंद्र गिरि के संपर्क में आया। उसे महंत नरेंद्र गिरि की सुरक्षा में तैनात कर दिया गया। इसी के बाद उसकी किस्मत के सितारे बुलंदी छूने लगे। देखते ही देखते वह महंत नरेंद्र गिरि का खास बन गया।
अजय की लाइफ स्टाइल के चर्चे पुलिस महकमें में होते रहते थै।
लग्जरी लाइफ स्टाइल, गले में मोटी चेन, ब्रांडेड कपड़े अजय की पहचान
अजय की पर्सनालिटी को लाजवाब थी ही ऊपर से गले में मोटी चैन, कलाई में महंगी घड़ियां, ब्रांडेड और महंगे कपड़े और जूते पुलिस महकमें में चर्चा का विषय रहे। महंत नरेंद्र गिरि की राजनीतिक पहुंच के बल पर वह बड़े-बड़े अधिकारियों की ट्रांसफर और पोस्टिंग का ठेका लेने लगा था। महंत नरेंद्र गिरि का खास होने के कारण वह भी उसपर पैसे पानी की तरह बहाते थे। अजय की ठाट-बाट और महंगी गाड़ियों ने उसे पुलिस महकमे का राबिन हुड बना दिया था। महंत नरेंद्र गिरि की मौत के बाद उसकी तस्वीरे सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुई थीं। सामाजिक कार्यकर्ता और पूर्व आईपीएस अधिकारी अमिताभ ठाकुर की पत्नी डॉ. नूतन ठाकुर की ओर से भी उसकी शिकायत की गई थी। उन्होंने दावा किया था कि अजय ने भ्रष्टाचार से कई करोड़ रुपये कमाए हैं।
अजय के पास महंगी बुलट भी है।
29 मई को नूतन ने पहली बार डीजीपी से की थी शिकायत
नूतन ने 29 मई को डीजीपी यूपी तथा अन्य अफसरों को भेजी शिकायत में कहा था कि कांस्टेबल अजय सिंह के पास करोड़ों की सम्पत्ति, फार्च्यूनर 4.2 वाहन संख्या यूपी70 सीई 3440, एक आल्टो कार व एक नई बुलट मोटरसाइकिल है। सिपाही अजय कुमार सिंह की पत्नी के नाम पर प्रयागराज के अल्लापुर में 5 अक्टूबर 2019 को 39.22 लाख रुपए तथा 10 अप्रैल 2014 को 22 लाख मूल्य के दो फ्लैट खरीदे गए हैं। इनकी वास्तविक कीमत भी खरीद रेट से दोगुनी है।
इसके अलावा सिपाही पर अपने गांव बलिया में करोडों का मकान, प्रयागराज के नारीबारी में करोड़ों की जमीन खरीदने का अरोप है। अजय पर अपने अल्लापुर स्थित फ्लैट में 25 लाख रुपए का इंटीरीयर कराने के भी आरोप हैं। नूतन ने अपनी शिकायत में कहा था कि सिपाही अजय का रहन-सहन किसी बड़े धनाढ्य से कम नहीं है।
महंत नरेंद्र गिरि और उनके शिष्य आनंद गिरि के बीच विवाद बाद अजय का नाम सामने आया था।
गुरु -शिष्य विवाद में भी आया था कांस्टेबल अजय सिंह का नाम
सिपाही अजय सिंह का नाम इससे पहले अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी नरेंद्र गिरी और उनके शिष्य स्वामी आनंद गिरी के बीच में विवाद के दौरान भी उछला था। आनंद गिरि ने अपने गुरु पर आरोप लगाया था कि उन्होंने गनर अजय सिंह समेत अपने सभी सेवादारों के नाम लाखों-करोड़ों की संपत्ति कर रखी है।आरोपों पर कुछ भी बोलने से किया इंकार
भ्रष्टचार के आरोपों का सामना कर रहे दीवान अजय कुमार सिंह का कहना है कि उन्हें इस संबंध में कुछ भी नहीं कहना है। वह अभी कौशांबी जनपद से अटैच हैं। जो भी जांच हो रही है वह उसका सामना करेंगे।